आप बदलो या ना बदलो, दुनिया तो बदलती ही है

आप बदलो या ना बदलो, दुनिया तो बदलती ही है,
आप आगे बढ़ो या ना बढ़ो, लोग तो आगे बढ़ते ही हैं।
आप समय का उपयोग करो या ना करो,
समय तो बीतता ही है,
आप चाहो या ना चाहो, समय बदलता ही है।
आप जितनी भी संभालो, कभी न कभी भरोसा तो टूटता ही है,
आप जितना भी कोशिश करो, दोस्त तो छूटते ही हैं।
आप सीखो या ना सीखो, समय तो सिखाता ही है।

आप खुश रहो या दुखी रहो,
ज़िंदगी अपने रास्ते पे चलती ही है।
आप रुख बदलना चाहें, मन का हो न हो,
हवा का रुख तो अपने अंदाज़ से चलता ही है।

आप ढूंढो या छुपाओ, सपने तो मिलते ही हैं,
जब तक न बदलोगे, सपने भी रुके ही हैं।
आप थकें या न थकें, सफर चलता ही है,
राहें अपनी मंजिल तक ले जाती ही हैं।

आप जिसे अपना समझो, वो कभी न कभी बदलता ही है,
आप जिसे ढूंढो, वो कभी न कभी मिलता ही है।
फिर भी न रुकना, न थकना, क्योंकि,
समय तो अपने रंग से दुनिया को रंगता ही है।

आप चाहो या न चाहो, जीत तो मिलती ही है,
ज़िंदगी कभी न रुकती, कभी न थकती ही है।
आप खुश रहें या उदास, ज़िंदगी चलती ही है,
समय तो अपने रंग में दुनिया को रंगता ही है।

इसलिए आगे बढ़ते रहो,
क्योंकि आप जीना चाहो या न चाहो, जीना तो पड़ता ही है।



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